डिमैट और ट्रेडिंग अकाउंट खोलने के लिए कौन

Demat Account Opening: जानें कैसे ऑनलाइन Demat अकाउंट खोला जाता है, स्टेप बाई स्टेप प्रोसेस है यहां
Demat Account Opening: शेयर बाजार की दुनिया में उतरने के लिए डीमैट अकाउंट की सबसे पहले जरूरत पड़ती है और आपके पास इसके लिए कई ऑप्शन हैं. यहां आप जान सकते हैं कि डीमैट अकाउंट कैसे खोल सकते हैं.
By: ABP Live | Updated at : 23 Nov 2021 04:35 PM (IST)
Edited By: Meenakshi
डीमैट खाता कैसे खोलें
Demat Account: घरेलू शेयर बाजार को देखें तो फिलहाल की गिरावट को छोड़कर ये निवेशकों को शानदार रिटर्न देने में कामयाब रहा है लिहाजा कई निवेशक शेयर बाजार में निवेश करना चाहते हैं. हालांकि इसके लिए क्या प्रोसेस है, इसकी जानकारी से वो अगर ठीक से परिचित नहीं हैं तो स्टॉक मार्केट में इंवेस्ट करने में दिक्कत आएगी. SEBI का आदेश है कि सभी तरह के शेयर ट्रेडिंग के लिए फिजिकल या ऑनलाइन मोड से डीमैट खाता खुलवाना जरूरी है. यहां हम बता रहे हैं कि शेयर बाजार में पैसा लगाने के लिए जिस डीमैट अकाउंट की जरूरत है, उसे कैसे खोला जा सकता है.
कैसे खोलें Demat अकाउंट
यहां हम ऑनलाइन तरीके से डीमैट अकाउंट खोलने की प्रक्रिया के बारे में बता रहे हैं जिसको 18 साल से ऊपर की उम्र का कोई भी शख्स खोल सकता है. डिजिटल तरीके से
डीमैट या ट्रेडिंग अकाउंट खोलने के लिए पहले फैसला कर लें कि आप किस कंपनी या ब्रोकरेज फर्म के जरिए ये खाता खोलना चाहते हैं.
किन डॉक्यूमेंट की पड़ेगी जरूरत
इसके लिए PAN, एक बैंक अकाउंट, आपका आइडेंटिटी कार्ड और एड्रेस प्रूफ का डॉक्यूमेंट आपको लगाना होगा.
कैसे खोलें डीमैट अकाउंट
पहले तय किए गए ब्रोकर की वेबसाइट पर जाएं और अकाउंट खोलने के लिए डिजिटल फॉर्म भरें. फॉर्म में आपको नाम, पता, परमानेंट अकाउंट नंबर और उस अकाउंट की डीटेल्स डालनी हैं जिन्हें ट्रेडिंग या डीमैट खाते से लिंक करना है. आपको यहीं पर अपने लिए सबसे सूटेबल प्लान को सेलेक्ट करने की भी जरूरत होगी.
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डॉक्यूमेंट अपलोड से लेकर अन्य जानकारी
आधार, कैंसिल्ड चेक और पैन की स्कैन कॉपी यहां फॉर्म में अपलोड करने की जरूरत होती है और आपकी फोटो के साथ स्कैंड दस्तखत की भी जरूरत हो सकती है. एक बार जानकारी सबमिट की जाने के बाद स्कैंन्ड डॉक्यूमेंट और इन पर्सन वेरिफिकेशन हो जाने के बाद आपका डीमैट और ट्रेडिंग अकाउंट खुल डिमैट और ट्रेडिंग अकाउंट खोलने के लिए कौन डिमैट और ट्रेडिंग अकाउंट खोलने के लिए कौन जाता है.
डीमैट खाते से जुड़ी खास बात
डीमैट खाते को जीरो अकाउंट बैलेंस के साथ भी खोला जा सकता है और इसमें मिनिमम बैलेंस डालने की कोई आवश्यकता नहीं है.
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Published at : 23 Nov 2021 04:35 PM (IST) Tags: Investment shares Stocks Mutual fund demat account हिंदी समाचार, ब्रेकिंग न्यूज़ हिंदी में सबसे पहले पढ़ें abp News पर। सबसे विश्वसनीय हिंदी न्यूज़ वेबसाइट एबीपी न्यूज़ पर पढ़ें बॉलीवुड, खेल जगत, कोरोना Vaccine से जुड़ी ख़बरें। For more related stories, follow: Business News in Hindi
10 BEST Demat Account In India | भारत में 10 सबसे बेस्ट डीमैट अकाउंट
पहले के समय में पेपर वर्क के माध्यम से शेयर खरीदने और बेचने की प्रक्रिया काफी मुश्किल होता था। इसी को दूर करने के लिए डीमैट अकाउंट (Demat Account) शुरू किया गया। डीमैट का मतलब ‘डीमैटरियलाइजेशन’ ‘dematerialization’ होता है। डीमैट अकाउंट (shares and securities) को डीमटेरियलाइज करता है, ताकि उन्हें इलेक्ट्रॉनिक रूप में रखा जा सके और कहीं से भी डिजिटल रूप में खरीदा और बेंचा जा सके।
आज के समय में डीमैट अकाउंट (Demat Account) के बिना, आप शेयरों की खरीद-विक्री नहीं कर सकते और ना ही ट्रैडिंग कर सकते हैं। क्योंकि वर्ष 1996 में, Securities and Exchange Board of India (SEBI) ने एक डिमैट और ट्रेडिंग अकाउंट खोलने के लिए कौन आदेश जारी किया था जिसमें कहा गया था कि सभी निवेशकों के पास शेयरों में ट्रैडिंग करने के लिए एक डीमैट अकाउंट होना अनिवार्य है।
आज के इस पोस्ट में हम आपको 10 सबसे बेस्ट डीमैट अकाउंट के बारे में जानकारी देने ताकि आप तय कर सकें कि आपके जरूरत के अनुसार डिमैट और ट्रेडिंग अकाउंट खोलने के लिए कौन कौन सा सबसे अच्छा है।
SBI Demat अकाउंट खोलने के मिलते हैं जबरदस्त फायदे, ट्रांजैक्शन और निवेश हो जाता है आसान
SBI Demat Account: एसबीआई डीमैट अकाउंट में आपको 24X7 घंटे सर्विस मिलती हैं. कस्टमर फोन के जरिये पूछताछ, सलाह और अपने अकाउंट से जुड़ी दूसरी जानकारियां ले सकते हैं. आप ईमेल पर अकाउंट डिटेल और बिल हासिल कर सकते हैं.
एसबीआई डीमैट अकाउंट को इंटरनेट बैंकिंग (www.onlinesbi.com) के जरिये ऑपरेट कर सकते हैं.
SBI demat account : अगर आप मार्केट में निवेश करने की शुरुआत कर रहे हैं तो जाहिर है आपको एक डीमैट अकाउंट की जरूरत पड़ती है. स्टेट बैंक ऑफ इंडिया (SBI) भी कस्टमर्स को डीमैट अकाउंट (Demat Account) की सुविधा देता है. हालांकि एसबीआई डीमैट अकाउंट SBI Cap Securities Ltd मैनेज करता है. आप एसबीआई डीमैट अकाउंट में कई सुविधाओं का फायदा ले सकते हैं. डीमैट अकाउंट एक ऐसा अकाउंट है जिसके जरिये आप भारतीय शेयर बाजार (Stock Market) में निवेश करते हैं. जब निवेशक एक्सचेंज में शेयर की शेयर की खरीदारी करता है तो मोनेटरी राशि के बदले पेमेंट करना होता है तो आपके शेयर डीमैट अकाउंट में जमा हो जाते हैं. जब आप इन शेयरों को बेचते हैं तो उसी डीमैट अकाउंट से जुड़े शेयर की संख्या में कटौती होती है.
क्या हैं एसबीआई डीमैट के फायदे
एसबीआई डीमैट अकाउंट में आपको 24X7 घंटे सर्विस मिलती हैं. कस्टमर फोन के जरिये पूछताछ, सलाह और अपने अकाउंट से जुड़ी दूसरी जानकारियां ले सकते हैं. एसबीआई डीमैट अकाउंट में कभी भी ट्रांजेक्शन कर सकते हैं. आप बैंक के 1000 से भी ज्यादा डीमैट सपोर्टिंग ब्रांच में कहीं से भी ऑपरेट कर सकते हैं. आप ईमेल पर अकाउंट डिटेल और बिल हासिल कर सकते हैं.
इंटरनेट बैंकिंग के जरिये ऑपरेट करने की सुविधा
एसबीआई डीमैट अकाउंट को इंटरनेट बैंकिंग (www.onlinesbi.com) के जरिये ऑपरेट कर सकते हैं. आप ऑनलाइन डीमैट अकाउंट डिटेल्स, होल्डिंग्स डिटेल, ट्रांजेक्शन डिटेल बिलिंग डिटेल देख सकते हैं. इसके अलावा, आप सेक्युरिटीज का ट्रांसफर या उन्हें गिरवी रखना/गिरवी से छुड़ाना ऑनलाइन कहीं से कभी भी कर सकते हैं. सभी डेबिट/ क्रेडिट के लिए या किसी रिक्वेस्ट के लिए SMS अलर्ट हासिल कर सकते हैं.
ऑनलाइऩ ट्रेडिंग सुविधा
अगर आप ऑनलाइऩ ट्रेडिंग की सर्विस चाहते हैं, तो एसबीआईकैप सेक्युरिटीज लिमिटेड के साथ यह सुविधा ले सकते हैं. यह सर्विस आपको 3-इन-1 अकाउंट करवाती है जो बचत बैंक खाते, डीमैट खाते तथा ऑनलाइन ट्रेडिंग खाते का इंटीग्रेटेड प्लेटफॉर्म है. इससे कागज़ रहित ट्रेडिंग का एक्सपीरियंस होता है.
डिमैट और ट्रेडिंग अकाउंट कैसे खोले ?
नमस्ते दोस्तों ! स्वागत है आपका इस आज के धमाकेदार Article में। आज हम पढ़ने वाले हैं कि, डिमैट और ट्रेडिंग अकाउंट कैसे खोलें ? आज के इस लेख में हम डिमैट अकाउंट और ट्रेडिंग अकाउंट के बारे में पूरी जानकारी देंगे। डिमैट अकाउंट क्या है, ट्रेडिंग अकाउंट क्या है, डिमैट और ट्रेडिंग अकाउंट खोलने के लिए कौन से डॉक्यूमेंट चाहिए, ट्रेडिंग अकाउंट और डिमैट अकाउंट के बीच का अंतर समझेंगे। तो चलिए शुरू करते हैं.
Table of Contents
डिमैट और ट्रेडिंग अकाउंट क्या है ? ( What Is Demat & Trading Account ?)
हमारे पास जो कमाए हुए या बचाए हुए पैसे होते हैं, उस पैसे को कई सुरक्षित जगह रखने के लिए हम बैंक में बैंक अकाउंट खोलते हैं। जिस तरह से पैसे रखने के लिए बैंक अकाउंट होता है, उसी तरह से शेयर मार्केट में होल्ड किए हुए शेयर को संग्रहित करने के लिए डिमैट अकाउंट होता है। शेयर मार्केट में व्यापार (Trade) करने के लिए ट्रेडिंग अकाउंट होता है।
डिमैट अकाउंट क्या है ? (What Is Demat Account ?)
शेयर मार्केट में इन्वेस्ट करने के लिए डिमैट अकाउंट जरूरी होता है। भारत में डिमैट अकाउंट सिस्टम 1996 में नेशनल स्टॉक एक्सचेंज में शुरू हुई थी। डिमैट अकाउंट सिस्टम को 1996 में ही सेबी द्वारा शुरू किया गया था। डिमैट अकाउंट में आप ने खरीदे हुए शेयर इलेक्ट्रॉनिक फॉर्म में संग्रहित किए जाते हैं। भारत में डिमैट अकाउंट सिस्टम आने से पहले पेपर वर्क के द्वारा शेयर को बेंचा या खरीदा जाता था। उसमें शेयर धारकों को शेयर सर्टिफिकेट बांटा जाता था।
डिमैट अकाउंट का पूरा नाम Dematerialisation होता है। डिमैट अकाउंट वह अकाउंट होता है, जहां हमने खरीदकर होल्ड किए हुए शेयर्स को इलेक्ट्रॉनिक फॉर्म में संग्रहित किया जाता है। आपने अगले कुछ सालों के लिए ख़रीदे हुए शेयर यहां पर संग्रहित होते हैं।
ट्रेडिंग अकाउंट क्या है ? (What Is Trading Account ?)
शेयर मार्केट में व्यापार (Trade) करने के लिए ट्रेडिंग अकाउंट का होना जरूरी होता है। शेयर की लेन-देन करने के लिए ट्रेडिंग अकाउंट जरूरी होता है। ट्रेडिंग अकाउंट आपके डिमैट अकाउंट और बैंक के बीच एक कड़ी का काम करता है। ट्रेडिंग अकाउंट आपके वित्तीय साधनों (Financial Instruments) में ट्रेड करने के लिए होता है।
क्या हम बिना ट्रेडिंग खाता के डिमैट खाता रख सकते हैं ?
यह बिलकुल संभव है।यदि आप IPO के लिए अप्लाई करते हैं, तो आवंटन (Allotment) किये हुए शेयर्स को रखने के लिए आपको केवल डिमैट अकाउंट की जरूरत होती है। यदि आप इस शेयर्स को बेचना नहीं चाहते, सिर्फ Hold करते हो तो, डिमैट अकाउंट ही पर्याप्त है। यदि आप इस शेयर्स को बेचना चाहते हो तो, आपको ट्रेडिंग अकाउंट खोलना होगा।
क्या हम बिना डिमैट अकाउंट के ट्रेडिंग अकाउंट को रख सकते हैं ?
डिमैट अकाउंट की जरूरत तभी होती है, जब आप शेयर्स होल्ड कर के संग्रहीत करके रखना चाहते हैं। इसलिए अगर आप शेयर मार्केट में सिर्फ व्यापार करना चाहते हैं, तो आप फ्यूचर और ऑप्शंस करने के लिए सिर्फ एक ट्रेडिंग अकाउंट भी खोल सकते हैं। यदि आप इक्विटी में व्यापार करना चाहते हैं तो आपको डिमैट अकाउंट खोलना जरूरी होता है। सेबी के नियम आप अपने ट्रेडिंग अकाउंट के साथ डिमैट अकाउंट को खोलने पर जोर देते हैं।
डिमैट और ट्रेडिंग अकाउंट खोलने के लिए कौन-से डॉक्यूमेंट की आवश्यकता होती है ?
डिमैट अकाउंट खोलने के लिए आवश्यक डॉक्यूमेंट :
- पहचान का सबूत (Proof of Identity) निम्नलिखित में से कोई एक
- पैन कार्ड
- आधार कार्ड
- ड्राइविंग लाइसेंस
- पासपोर्ट
- वोटर आइडेंटिटी कार्ड
- पते का प्रमाण (Proof of Address) निम्नलिखित में से कोई एक
- आधार कार्ड
- रेशन कार्ड
- पासपोर्ट
- वोटर आईडी कार्ड
- ड्राइविंग लाइसेंस
- बैंक पासबुक
ट्रेडिंग अकाउंट खोलने के लिए आवश्यक डॉक्यूमेंट:
- पहचान का सबूत (Proof of Identity) निम्नलिखित में से कोई एक
- पैन कार्ड
- आधार कार्ड
- ड्राइविंग लाइसेंस
- पासपोर्ट
- वोटर आईडेंटिटी कार्ड
- पते का प्रमाण (Proof of Address) निम्नलिखित में से कोई एक
- आधार कार्ड
- रेशन कार्ड
- पासपोर्ट
- वोटर आईडी कार्ड
- ड्राइविंग लाइसेंस
- बैंक पासबुक
- आय का प्रमाण (Proof of Income) निम्नलिखित में से कोई एक
- ITR (Acknowledgement Copy)
- सैलरी स्लिप
- स्टेटमेंट ऑफ डिमैट अकाउंट होल्डिंग
- करंट बैंक अकाउंट स्टेटमेंट (6 महीने तक)
- बैंक अकाउंट का प्रमाण (Proof of Bank Account)
- कैंसिल चेक
डिमैट और ट्रेडिंग अकाउंट में क्या अंतर है ? (What Is Difference Between Demat & Trading Account ?)
- डिमैट अकाउंट में हमने खरीदे हुए शेयर्स ज्यादा समय के लिए संग्रहीत किए जाते है।
- ट्रेडिंग अकाउंट आपको शेयर की लेनदेन करने के लिए होता है।
- शेयर मार्केट में इन्वेस्ट करने के लिए डिमैट अकाउंट जरूरी होता है।
- शेयर मार्केट में ट्रेड करने के लिए ट्रेडिंग अकाउंट होता है।
- एक डिमैट अकाउंट आपके स्वामित्व (Ownership) वाले शेयर्स और प्रतिभूतियों (Securities) को दिखाता है।
- एक ट्रेडिंग अकाउंट आपके द्वारा शेयर बाजार में अब तक किए गए लेन-देन का विवरण दिखाता है।
- एक निवेशक जो IPO के लिए आवेदन करना चाहता है उसके पास एक डिमैट अकाउंट होना चाहिए।
- आईपीओ के लिए आवेदन करने के लिए ट्रेडिंग अकाउंट होना जरूरी नहीं है।
- डिमैट अकाउंट का उपयोग होल्ड किए हुए शेयर्स को संग्रहित करने के लिए होता है।
- ट्रेडिंग अकाउंट आपके डिमैट अकाउंट और डिमैट और ट्रेडिंग अकाउंट खोलने के लिए कौन बैंक के बीच एक कड़ी का काम करता है।
- आपके डिमैट अकाउंट में एक डिमैट नंबर होगा जिसका उपयोग आपके खाते की विशिष्ट रूप से पहचान करने के लिए किया जा सकता है।
- ट्रेडिंग अकाउंट को एक विशिष्ट ट्रेडिंग नंबर होगा जिसका उपयोग व्यापार करने के लिए किया जा सकता है।
डिमैट और ट्रेडिंग अकाउंट कौन से स्टॉक ब्रोकर से खोलें ?
डिमैट और ट्रेडिंग अकाउंट एक अच्छे स्टॉक ब्रोकर से खोलना बहुत जरूरी है। एक अच्छी सेवा देने वाले स्टॉक ब्रोकर के साथ डिमैट अकाउंट खोलना जरूरी है। नीचे दिए हुए लिंक से आप अपना डिमैट अकाउंट और ट्रेडिंग अकाउंट भारत के टॉप स्टॉक ब्रोकर से खोल सकते हैं।
निष्कर्ष – Conclusion
आज के इस महत्वपूर्ण लेख में हमने पढ़ा की डिमैट और ट्रेडिंग अकाउंट कैसे खोलें ? शेयर मार्केट में अपना पहला कदम रखने के लिए आपको डिमैट अकाउंट की जरूरत पड़ती है, यह हमने समझा शेयर मार्केट में आपको ट्रेडिंग करने के लिए ट्रेडिंग अकाउंट और इन्वेस्टिंग करने के लिए डिमैट अकाउंट की जरूरत पड़ती है। इसी तरह से हमने ट्रेडिंग और डिमैट अकाउंट के बीच के भेद को समझा। आज के इस Article को पढ़ने के लिए आप सभी का हृदय पूर्वक धन्यवाद.
डिमैट अकाउंट क्या है ?
डिमैट अकाउंट वह अकाउंट होता है, जहां हमने डिमैट और ट्रेडिंग अकाउंट खोलने के लिए कौन खरीदकर होल्ड किए हुए शेयर्स को इलेक्ट्रॉनिक फॉर्म में संग्रहित किया जाता है।
शेयर मार्केट में निवेश: डीमैट अकाउंट खोलते समय ट्रांजेक्शन और मेंटेनेंस चार्ज सहित इन 5 बातों का रखें ध्यान, इससे आपको मिलेगा ज्यादा फायदा
अगर आप शेयर मार्केट में निवेश का प्लान बना रहे हैं तो इसके लिए आपको डीमैट अकाउंट खोलना होगा। इसके बिना आप शेयर मार्केट में ट्रेडिंग नहीं कर सकते हैं। कहीं भी डीमैट अकाउंट खोलने से पहले इस बात का ध्यान रखना चाहिए कि जिस ब्रोकेज हाउस में आप डीमैट अकाउंट खोल रहे हैं वो आपको कौन-कौन सी सुविधाएं देता और आपसे इसके बदले में कितना चार्ज लेगा। हम आपको ऐसी 5 बातों के बारे में बता रहें हैं जिनका ध्यान आपको डीमैट अकाउंट खोलते समय रखना चाहिए।
ब्रोकरेज और ट्रांजेक्शन फीस
भारत में ब्रोकरों के बीच डीमैट अकाउंट खोलने और ब्रोकरेज चार्ज अलग-अलग हैं। जबकि उनमें से ज्यादातर आजकल मुफ्त डीमैट खाते खोल रहे हैं। वे इक्विटी खरीदने और बेचने पर आपसे लेनदेन (ट्रांजेक्शन) फीस ले सकते हैं। डीमैट अकाउंट की फीस के अलावा सालाना मेंटेनेंस चार्ज और ट्रांजेक्शन फीस की भी जांच करें, कि आपके डीमैट अकाउंट का सालाना खर्च कितना है। ट्रांजेक्शन फीस को लेकर ब्रोकरों के बीच बड़ा अंतर हो सकता है।
अन्य सुविधाओं के बारे में डिमैट और ट्रेडिंग अकाउंट खोलने के लिए कौन जानें
कुछ ब्रोकरेज हाउस सिर्फ इक्विटी ब्रोकिंग की सेवा ही नहीं प्रदान करतें, बल्कि कई प्रकार की अन्य सेवाएं भी आप तक पहुंचाते हैं। कई ब्रोकरेज फर्म आपको समय-समय पर रिसर्च उपलब्ध कराती रहती हैं जो आपको सही जगह निवेश करने में मदद कर सकता है। ऐसे में जान लें आपका ब्रोकरेज हाउस आपको क्या-क्या सुविधा देगा। यदि आप उन निवेशकों में से हैं जिनके पास ट्रेडिंग के लिए ज्यादा समय नहीं है तो आप ऐसे ब्रोकेज डिमैट और ट्रेडिंग अकाउंट खोलने के लिए कौन हाउस का चयन कर सकते हैं जिसका मार्केट ट्रैकिंग के लिए मोबाइल ऐप हो।
डीमैट और ट्रेडिंग खाते की सुविधा
इक्विटी और डेरिवेटिव में ट्रेडिंग में लगातार एक्टिविटी होती रहती है। क्योंकि एक सेकंड की देरी भी फायदा और नुकसान के बीच अंतर को ज्यादा या कम कर सकती है। आपके लिए यह सबसे अच्छा है यदि आपका ब्रोकर 2-इन-1 डीमैट और ट्रेडिंग खाता आपको देता हैं। जिससे आप दो अलग-अलग ब्रोकरों के होने पर लेनदेन में देरी से बच सकें। ट्रेडिंग खाते के बगैर डीमैट खाता अधूरा है।
डीमैट खाते में आप सिर्फ डिजिटल रूप में शेयरों को रख सकते हैं। जबकि ट्रेडिंग अकाउंट के साथ आप शेयर, आईपीओ, म्यूचुअल फंड और यहां तक गोल्ड में निवेश कर सकते हैं। इसके बाद आप इन्हें डीमैट खाते में रख सकते हैं।
पोर्टफोलियो की जानकारी भी जरूरी
कई ब्रोकरेज हाउस आपके पोर्टफोलियो की जानकारी आपको समय-समय पर देते रहते हैं। इससे आपको अपने निवेश से मिलने वाले रिटर्न की जानकारी रखने में मदद मिलेगी।
कनेक्टिविटी का रखें ध्यान
आप कारोबार के लिए फोन और इंटरनेट दोनों का ही इस्तेमाल कर सकते हैं। ब्रोकरेज हाउस का चयन करने से पहले यह जान लेना जरूरी है कि वह दोनों में से कौनसी सुविधा मुहैया करवाता है। हालांकि अब ज्यादातर ब्रोकर्स दोनों ही सुविधाएं देते हैं।